हाथरस/सासनी। गांव रूदायन में परिक्रमा मार्ग पर बनी श्री हनुमान जी की ग्यारह फुट की प्रतिमा बरसात के कारण ध्वस्त हो गईं। जिससे ग्रामीणों में उदासी छा गईं ग्रामीणों ने प्रतिमा के अवशेषों को विसर्जन के लिए एकत्र कर लिया है।
गांव रूदायन में करीब बारह वर्ष पूर्व गांव के ही एक मूर्तिकार द्वारा भगवान श्री रामभक्त हनुमान जी की प्रतिमा को मूर्त रूप दिया गया था। जिसकी पंडित हरीशंकर शर्मा द्वारा प्राण प्रतिष्ठा की गई थी। तभी से भक्तों द्वारा श्री हनुमान जी की सेवा शुरू कर दी थी। कई बार गांव में तेज आंधियां आई तूफान आए, बरसात भी हुई मगर प्रतिमा का कुछ नहीं बिगडा। मगर बुधवार को भगवान भास्कर के कोप को शांत करने के लिए जैसे ही इंद्रदेव ने अपने श्री चरण पृथ्वी पर रखे वैसे ही श्री हनुमान जी की प्रतिमा धराशाई हो गई। प्रतिमा धराशाई होने पर ग्रामीणों में उदासी छा गईं कई ग्रामीण महिलाओ के आंसू निकल आए और प्रतिमा के अवशेषों को एकत्र करने मंे जुट गई। फिलहाल ग्रामीणों ने श्री हनुमान जी प्रतिमा के अवशेषों को गंगा में प्रवाह के लिए एकत्र कर लिया हैं शुभ मुहूर्त में इन अवशेषांें को विसर्जित किया जाएगा।
गांव रूदायन में करीब बारह वर्ष पूर्व गांव के ही एक मूर्तिकार द्वारा भगवान श्री रामभक्त हनुमान जी की प्रतिमा को मूर्त रूप दिया गया था। जिसकी पंडित हरीशंकर शर्मा द्वारा प्राण प्रतिष्ठा की गई थी। तभी से भक्तों द्वारा श्री हनुमान जी की सेवा शुरू कर दी थी। कई बार गांव में तेज आंधियां आई तूफान आए, बरसात भी हुई मगर प्रतिमा का कुछ नहीं बिगडा। मगर बुधवार को भगवान भास्कर के कोप को शांत करने के लिए जैसे ही इंद्रदेव ने अपने श्री चरण पृथ्वी पर रखे वैसे ही श्री हनुमान जी की प्रतिमा धराशाई हो गई। प्रतिमा धराशाई होने पर ग्रामीणों में उदासी छा गईं कई ग्रामीण महिलाओ के आंसू निकल आए और प्रतिमा के अवशेषों को एकत्र करने मंे जुट गई। फिलहाल ग्रामीणों ने श्री हनुमान जी प्रतिमा के अवशेषों को गंगा में प्रवाह के लिए एकत्र कर लिया हैं शुभ मुहूर्त में इन अवशेषांें को विसर्जित किया जाएगा।

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