हाथरस- सांसद राजेश दिवाकर ने लोकसभा में पेट्रोल पम्प व गैस ऐजेन्सियों का मांगा ब्यौरा

हाथरस। हाथरस सांसद राजेश कुमार दिवाकर ने संसद में खुदरा बिक्री केन्द्र/गैस एंजेसियों के आंवटन को लेकर पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान से कई सवाल पूछे। सांसद ने पूछा कि गत 3 वर्षों तथा चालू वर्ष के दौरान विभिन्न तेल विपणन कंपनियों द्वारा देश के ग्रामीण शहरी/जनजातिय क्षेत्रों में विभिन्न श्रेणी के लोगों को आंवटन के लिए प्रस्तावित पेट्रोल पंप व गैस एंजेसियों का ब्यौरा क्या है।
आरक्षण के अनुपात में उक्त खुदरा बिक्री एंजेसियों में आरक्षण कोटे को भरने के लिए कौन से कदम उठाए गए हैं तथा उक्त अवधि के दौरान देश में विभिन्न राज्यों में विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में मांग और आपूर्ति के अनुरूप, उत्तर प्रदेश संहित कौन से कदम उठाए गए हैं। अब तक नए पेट्रोल पंप/एंजेसियों के खोलने के कितने मामलों में साक्षात्कार हुए हैंतथा उक्त अवधि के दौरान कितने के परिणाम घोषित किए गए हैं तथा इस संबंध में कितनी शिकायतें प्राप्त हुई हैं तथा इसमे संलिप्त ओएमसी/अधिकरियों के विरूद्ध क्या कार्रवाई की गई है। तथा रद्द किए गए पेट्रोल पंप का/एलपीजी एंजेसी का आंवटन तथा अधिकारियों का निलंब यदि कोई हो, का उक्त अवधि के दौरा ओएमसी/राज्य/संघ राज्यक्षेत्र-वार/ श्रेणी वार ब्यौरा क्या है।
क्या सरकार ने कुछ निजी क्षेत्र के कंपनियों को पेट्रोल पंप, एलपीजी एंजेसी और सीएनजी एंजेसी खोलने की अनुमति दी है और यदि हां तो उनके द्वारा संचालित पेट्रोल पंप सीएनजी/एलपीजी का नाम क्या है और क्या सड़क और राजमार्ग मंत्रालय ने   राष्ट्रीय/राज्य राजमार्गों पर मूलभूत सुविधा सहित नए पेट्रोल पंप की संस्वीकृति के लिए कुछ दिशानिर्देश जारी किए हैं और यदि हां तो ब्यौरा क्या है। इसके उत्तर में पेट्रोलियम और प्राकृतिक राज्य मंत्री(स्वतंत्र प्रभार) धर्मेंद्र प्रधान ने बताया कि खुदरा बिक्री केन्द्र डीलरशिप्स के आवंटन/स्थापना में विभिन्न कदम जैसे विज्ञापन साक्षात्कार/डीलरों का चयन, प्रत्यय पत्रों का क्षेत्र सत्यापन, आशय पत्र जारी करना, भूमि की अधिप्राप्ति, आवश्वक सांविधिक अनुमोदन प्राप्त करना और निर्माण आदि शामिल होते हैं। इसी प्रकार, एलपीजी डिस्ट्रीब्यूटरशिप्स के आबंटन में विज्ञापन, आवेदन पत्रों की संवीक्षा, पात्र उम्मीदवारों के बीच ड्राॅ निकालना, ड्राॅ में चयनित उम्मीदवारों का क्षेत्र सत्यापन और क्षेत्र सत्यापन में सफल उम्मीदवारों को आशय पत्र जारी करने की प्रक्रिया शामिल होती है। डीलर/वितरक के चयन की प्रक्रिया में तेजी लाने के लिये सभी प्रयास किये जाते है। तथापि कभी-कभी शिकायत और संदर्भ, न्यायालयों मामलों, संवीक्षा के दौरान अस्वीकार किये गये आवेदकों, प्रत्यय-पत्रों के क्षेत्र सत्यापन एफवीसी के दौरान उम्मीदवार को अस्वीकार करने आदि के कारण विलम्ब हो जाता है। एफवीसी के दौरान उम्मीदवार को अस्वीकार किये जाने पर ड्राॅ दोबारा आयोजित करना होता है। यह प्रकिया तक तक चलती रहती है जब तक सभी पात्र उम्मीदवारों के लिये ड्राॅ नहीं हो जाता है।
    खुदरा बिक्री केन्द्र डीलरशिप/एलपीजी डिस्ट्रीब्यूटरशिप्स के लिये 200 बिंदु राज्यवार रोस्टर, जिसे विभिन्न श्रेणियों के तहत आरक्षण प्रतिशतता  को ध्यान में रखते हुऐ तैयार किया जाता है, के आधार पर विज्ञापन जारी किये जाते हंै। अनुसूचित जातियों/अनुसूचित जनजातियों के लिये आरक्षण के अनुपात में आरक्षण कोटा भरने के लिये ओएमसीजे ने निम्नलिखित कदम उठाये है। 06.09.2006 के एमओपीएंडएनजी के दिशा-निर्देशों के अनुसार अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के लम्बित आशय पत्रधारकों को सौंपने के लिये अस्थायी कोकोज का उपयोग। देश में कहीं भी अपनी पसन्द के स्थान पर भूमि की व्यवस्था करने का एकबारगी विकल्प देकर लम्बित अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति के आशय पत्रों का परिसमापन, बषर्ते पेशकश की गई भूमि तकनीकी-वाणिज्यिक व्यवहारिता पर खरी उतरती है। उद्योग ने बैकलाॅग तैयार किया है और नए दिशा-निर्देशों के तहत विज्ञापन दिया है। विज्ञापित स्थल पर उपर्युक्त भूमि की उपलब्धता को पात्रता बना दिया गया है और इस प्रकार भूमि रखने वाले अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजातिके आवेदकों को आवेदन करने का मौका दिया गया है। अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति श्रेणी के आवेदक भूमि के लिये आवेदन कर सकते है और तीन माह के भीतर भूमि उपलब्ध करवा सकते हैं। उद्योग बैंकों द्वारा भूमि के लिये की जा रही नीलामी में भग लेने का अवसर तलाश कर रहा है।
     राज्य सरकारों से अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति श्रेणी के तहत आरोज के लिये भूमि आबंटित करने का अनुरोध किया गया है। ओएमसीज द्वारा प्रस्तुत सूचना के अनुसार पिछले तीन वर्षो और चालू वर्ष के दौरान डीलर चयन के तहत आवंटन के सम्बन्ध में अनियमितताओं के आरोप के आधार पर अपने अधिकारियों को निलम्बित करने का कोई मामला नहीं है।

1 टिप्पणियाँ

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  1. आदरणीय जी SH 13 स्टेट राजममार्ग पर कंपनी द्वारा लोकेशन 694 पर डीलर चयन प्रक्रिया में ड्रा द्वारा सफल अभ्यर्थी का सरकार द्वारा स्टेट हाईवे निर्माण अधिनियम नियम का उल्लंघन करना एवम सरकारी माप दण्ड के सत्यापन को अनुचित मानना एवम चयन अभ्यर्थी दरकिनार करना न्याय नही है एवम बिक्री अधिकारी द्वारा गलत रिपोर्ट प्रेसित करना

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